लखनऊ, 14 अक्टूबर 2025: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को कहा कि ग्राम पंचायतें केवल प्रशासनिक इकाइयां नहीं हैं, बल्कि ग्रामीण विकास की आत्मा हैं। उन्होंने जोर देकर कहा कि पंचायतों को सशक्त बनाकर ही गांवों का समग्र विकास सुनिश्चित किया जा सकता है।
Gram Panchayat को आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनाने पर जोर
पंचायती राज विभाग की समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री ने कहा कि ग्राम पंचायतों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए पारदर्शिता, तकनीक और स्थानीय संसाधनों का प्रभावी उपयोग आवश्यक है। पंचायतों की स्वनिधि बढ़ाने के लिए कई सुधारात्मक कदम उठाए जा रहे हैं। स्थानीय कर और यूज़र चार्ज संग्रह की प्रक्रिया को ऑनलाइन किया गया है, जबकि पंचायतों की आय बढ़ाने के लिए नवाचारों पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है।
सीएम योगी ने स्पष्ट किया कि तकनीकी और पारदर्शिता के माध्यम से ग्राम पंचायतों की राजस्व प्राप्ति और जनसेवा की गुणवत्ता दोनों में सुधार सुनिश्चित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि विकास प्राधिकरणों के अतिरिक्त जिला पंचायतों के अधीन क्षेत्रों में भवन मानचित्र स्वीकृति के लिए दक्ष मानव संसाधन की उपलब्धता होनी चाहिए। इसके लिए प्रत्येक जिला पंचायत में सिविल इंजीनियर या आर्किटेक्ट की तैनाती की जाएगी, ताकि स्थानीय निर्माण कार्य में गुणवत्ता और पारदर्शिता बनी रहे।
ग्राम पंचायतों में नई आय और सुविधाएं
मुख्यमंत्री ने ग्राम पंचायतों की आय बढ़ाने के लिए ग्राम सचिवालयों में आधार केंद्र खोलने के निर्देश दिए। आधार कार्ड निर्माण, संशोधन और बायोमेट्रिक अपग्रेडेशन जैसी सेवाएं स्थानीय स्तर पर उपलब्ध कराई जाएंगी, जिससे नागरिकों को सुविधा मिले और पंचायत की आय में भी वृद्धि हो।
पंचायती राज विभाग द्वारा तालाबों और पोखरों की सूचीकरण और उपयोग नीति पर भी कार्य किया जा रहा है। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि पंचायतों और जिला पंचायतों के अधीन तालाबों/पोखरों का समयबद्ध पट्टा किया जाए और प्राप्त राशि का उपयोग हर घर नल, जल संरक्षण और ग्राम्य हित के कार्यों में किया जाए। इसके लिए स्पष्ट नियमावली भी तैयार की जाएगी।
सीएम ने कहा, “ग्राम पंचायतों के पास जितनी अधिक स्व-वित्तीय क्षमता होगी, उतनी ही तेजी से ग्रामीण विकास के कार्य आगे बढ़ेंगे। पंचायत प्रतिनिधियों को वित्तीय प्रबंधन, डिजिटल सेवा वितरण और जनसुविधा संचालन के विषय में प्रशिक्षण दिया जाएगा।”
अंत में उन्होंने जोर देकर कहा, “ग्राम पंचायतों की समृद्धि ही आत्मनिर्भर भारत की नींव है। राज्य सरकार का लक्ष्य है कि हर ग्राम पंचायत सेवा, स्वच्छता और स्वावलंबन की प्रतीक बने।”