मेरठ से प्रयागराज तक फर्राटेदार सफर का सपना अब हकीकत के करीब, नवंबर से शुरू हो सकती है आवाजाही
मेरठ/अमरोहा, 14 सितंबर 2025। उत्तर प्रदेश का सबसे बड़ा एक्सप्रेसवे प्रोजेक्ट अब अपने अंतिम पड़ाव पर है। 594 किलोमीटर लंबे Ganga Expressway Update से जुड़ी ताज़ा जानकारी के मुताबिक, मेरठ से प्रयागराज तक का यह कॉरिडोर लगभग तैयार हो चुका है। अमरोहा जिले के हसनपुर तहसील इलाके में निर्माण कार्य पूरा कर लिया गया है और अब फिनिशिंग टच दिया जा रहा है।
अधिकारियों का कहना है कि बारिश के कारण कुछ काम अटक गया था, लेकिन अब इसे तेजी से पूरा किया जा रहा है। संभावना है कि नवंबर 2025 से इस एक्सप्रेसवे पर वाहन फर्राटा भरना शुरू कर देंगे।
हसनपुर से गुजरता आधुनिक कॉरिडोर
हसनपुर तहसील के 23.60 किलोमीटर लंबे हिस्से का काम लगभग पूरा हो चुका है। लाइटिंग इंस्टॉलेशन से लेकर बरसात के पानी की निकासी तक की पूरी व्यवस्था कर दी गई है। मंगरौला में बने ओवरब्रिज और टी-प्वाइंट के दोनों ओर टोल बूथ खड़े हो चुके हैं। वहीं पाइंदापुर में गंगा नदी पर बना पुल इस मेगा प्रोजेक्ट की खूबसूरती और उपयोगिता को और बढ़ाता है।
निर्माण एजेंसियों का कहना है कि 12 अक्टूबर 2025 तक हसनपुर वाले हिस्से को औपचारिक रूप से पूरा घोषित कर दिया जाएगा। इसके बाद पूरे कॉरिडोर को चालू करने की तैयारियां अंतिम चरण में पहुंच जाएंगी।
594 किलोमीटर की ताकत
Ganga Expressway Update सिर्फ एक सड़क परियोजना नहीं है, बल्कि उत्तर प्रदेश की आर्थिक और सामाजिक धड़कन को तेज करने वाला इंफ्रास्ट्रक्चर है। 594 किलोमीटर लंबे इस एक्सप्रेसवे के चालू होने से मेरठ से प्रयागराज तक की दूरी बेहद आसान और सुरक्षित हो जाएगी। फिलहाल मेरठ से प्रयागराज तक पहुंचने में जहां कई घंटे लगते हैं, वहीं इस एक्सप्रेसवे पर सफर बेहद सुगम होगा।
आम लोगों और वादकारियों के लिए बड़ी राहत
इस प्रोजेक्ट के शुरू होने से पश्चिमी यूपी से प्रयागराज पहुंचने वाले श्रद्धालुओं और यात्रियों को बड़ी राहत मिलेगी। चाहे संगम में डुबकी लगाने वाले श्रद्धालु हों या इलाहाबाद हाईकोर्ट में पेशी के लिए जाने वाले वादकारी और अधिवक्ता—अब उनका सफर तेज और सुविधाजनक होगा।
स्थानीय लोगों का कहना है कि गंगा एक्सप्रेसवे न केवल व्यापार और रोजगार के अवसरों को बढ़ाएगा, बल्कि शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं तक पहुंच भी आसान बनाएगा।
कब से दौड़ेंगी गाड़ियां?
अधिकारियों ने संकेत दिए हैं कि नवंबर 2025 तक पूरा कॉरिडोर चालू कर दिया जाएगा। यानी अब कुछ ही महीनों में मेरठ से प्रयागराज तक बिना किसी रुकावट के गाड़ियों की रफ्तार देखने को मिलेगी।